कैनबरा8 मिनट पहले
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जयशंकर ने 5 नवंबर को कैनबरा में ऑस्ट्रेलियाई विदेश मंत्री पैनी वोंग के साथ जॉइंट प्रेस कांफ्रेंस की थी।
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने मंगलवार को बताया कि चीन के साथ ‘डिसइंगेजमेंट चैप्टर’ अब खत्म हो गया है। दोनों देशों की सेना LAC से लगे देपसांग और डेमचोक के विवादित क्षेत्र से सेना की वापसी का काम पूरा कर चुकी हैं। अब मामला काफी आगे बढ़ चुका है। जयशंकर कैनबरा में ऑस्ट्रेलियाई विदेश मंत्री पैनी वोंग के साथ जॉइंट प्रेस कांफ्रेंस में बोल रहे थे।
जयशंकर ने कहा- डिसइंगेजमेंट पूरा होने के बाद अब दोनों देशों का फोकस डी-एस्केलेशन पर होगा। इसके लिए विदेश मंत्रियों और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों (NSA) की जल्द ही बैठक होगी। जयशंकर ने किसी तारीख का जिक्र नहीं किया।
भारत-ऑस्ट्रेलिया के विदेश मंत्रियों का यह 15वां फ्रेमवर्क डायलॉग था, जो कैनबरा में हुआ।
सैनिकों की संख्या कम करना चुनौती प्रेस कांफ्रेंस में पूछे गए एक सवाल का जवाब देते हुए विदेश मंत्री ने कहा, ‘एक बार जब सैनिकों के सीमा से पीछे हटने की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी तो हमारे पास अन्य चुनौतियां होंगी। उन्होंने कहा कि इन चुनौतियों में दोनों ओर सैनिकों की संख्या कम करना भी शामिल है।
जयशंकर बोले- ब्रिक्स की बैठक के दौरान प्रधानमंत्री मोदी और चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग के बीच बातचीत हुई है। इसमें दोनों देशों ने उनके विदेश मंत्री और NSA के बीच बैठक को लेकर सहमती दी है। PM मोदी ने तब कहा था कि दोनों देशों के संबंध हमारे लोगों, वैश्विक शांति और स्थिरता के लिए जरूरी हैं।
2020 में बिगड़ने शुरू हुए थे रिश्ते भारत चीन के साथ 3 हजार 440 किमी बॉर्डर साझा करता है। दोनों देशों के बीच 2020 में सीमा पर तनाव शुरू हुआ। इस दौरान पूर्वी लद्दाख की गलवान घाटी में भारत-चीन के सैनिकों के बीच बीते एक दशक की गंभीर सैनिक झड़प हुई थी। इसमें 20 जवान शहीद हुए थे। चीन के भी कई सैनिक मारे गए थे। हालांकि चीन ने अब तक कोई आंकड़ा नहीं बताया।
भारत और चीन के बीच 4 बड़े सैन्य गतिरोध
- जून 2020, गलवान घाटी झड़प : 45 साल बाद पहला संघर्ष जिसमें जवानों की जान गई। भारत के 20 जवान शहीद हुए थे।
- जनवरी 2021, सिक्किम झड़प : नाथु-ला-पास के करीब दोनों सेनाओं के सैनिकों की झड़प जिसमें दोनों ओर के सैनिक घायल हुए।
- सितंबर 2021, पैगोंग फायरिंग : दोनों ओर से चेतावनी देते हुए फायरिंग हुई। यह 1996 के ‘नो फायरआर्म्स’ समझौते का उल्लंघन था।
- दिसंबर 2022, तवांग झड़प : अरुणाचल प्रदेश के तवांग सैक्टर के पास दोनों देशों के सैनिक भिड़े।
चीन ने कहा- दोनों देशों के द्विपक्षीय संबंध आगे बढ़ेंगे इससे पहले भारत में चीनी दूतावास के प्रवक्ता ने X पर लिखा, ‘चीनी और भारतीय सेना सीमा से जुड़े मुद्दों पर दोनों पक्षों के बीच हुए समझौतों को लागू कर रही है। यह फिलहाल सुचारू रूप से चल रहा है। साथ ही भारत में चीन के राजदूत शू फेईहोन्ग ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि दोनों देशों के द्विपक्षीय संबंध आगे बढ़ेंगे। यह किसी खास असहमति से प्रभावित नही होंगे।
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भारत और चीन की सेनाएं शुक्रवार, 25 अक्टूबर से पूर्वी लद्दाख सीमा से पीछे हटना शुरू हो गई थीं। पहले पूर्वी लद्दाख के डेमचोक और देपसांग पॉइंट से दोनों सेनाओं ने अपने अस्थायी टेंट और शेड हटाए। गाड़ियां और मिलिट्री उपकरण भी पीछे लाए गए। सेनाएं पूरी तरह हटने के बाद सीमित सैनिक पेट्रोलिंग करेंगे। दोनों देश अपनी सेनाओं की पेट्रोलिंग की तारीख और समय भी बताएंगे। पढ़ें पूरी खबर…
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