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प्राचार्य ने बेटे की परीक्षा दूसरे छात्र से दिलवाई: ​​​​​​​डीएड कराने का वादा किया; 40 हजार लेकर बैठाए फर्जी परीक्षार्थी, डॉक्यूमेंट भी फर्जी बनाए – Sagar News

माध्यमिक शिक्षा मंडल भोपाल द्वारा आयोजित कक्षा 12वीं की परीक्षा में सागर जिले के बिलहरा स्थित परीक्षा केंद्र पर पकड़ाए दो फर्जी परीक्षार्थियों के मामले में पुलिस ने ठाकुर उदयभान मेमोरियल उच्चतर माध्यमिक विद्यालय और कॉलेज के संचालक व प्राचार्य मुख्य आर

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उसने अपने बेटे को अच्छे नंबरों से कक्षा 12वीं पास कराने के लिए फर्जीवाड़ा किया था। साथ ही एक अन्य स्कूल के छात्र से 40 हजार रुपए लेकर फर्जी परीक्षार्थी परीक्षा में बैठाए थे। परीक्षा में फर्जीवाड़े का मास्टर माइंड प्राचार्य आरोपी कृष्णा सिंह ने ही फर्जी परीक्षार्थियों के आधार कार्ड और प्रवेश पत्र फर्जी तैयार किए थे। उन्हें लालच देकर परीक्षा में बैठाया था। लेकिन परीक्षा के दौरान जांच में दोनों फर्जी परीक्षार्थी पकड़ा गए। जिसके बाद आरोपी प्राचार्य का नाम सामने आया। पुलिस ने प्राचार्य कृष्णा सिंह राजपूत को भी मामले में आरोपी बनाया था। घटनाक्रम के बाद से आरोपी फरार था। जिसे पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। पूछताछ में उसने अपना जुर्म स्वीकार किया है।

12 वीं परीक्षा में फर्जीवाडे के आरोपी।

अब सिलसिलेबार पढ़िए 12वीं परीक्षा में फर्जी परीक्षार्थियों की पूरी कहानी माध्यमिक शिक्षा मंडल भोपाल ने कक्षा 12वीं की परीक्षा 2023-24 आयोजित की। परीक्षा के दौरान 12 फरवरी को सागर जिले के बिलहरा स्थित परीक्षा केंद्र पर दो फर्जी परीक्षार्थी पकड़े गए। शासकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बिलहरा परीक्षा केंद्र के केंद्र अध्यक्ष विजय कुमार पचौरी ने बिलहरा पुलिस चौकी में लिखित शिकायत की। शिकायत में बताया कि हायर सेकंडरी परीक्षा 2023-2024 में 12 फरवरी को भौतिक, अर्थशास्त्र और पशुपालन की परीक्षा का मेरे और परिवेक्षक द्वारा सभी परीक्षा कक्षों का निरीक्षण किया गया। निरीक्षण के दौरान कक्ष क्रमांक-18 में छात्र अंश राजपूत और कक्ष क्रमांक-17 में छात्र पवन लोधी जिनकी परीक्षा में उपस्थिति व फोटो संदिग्ध पाई गई। संदेह होने पर परिवेक्षक और संबंधित कक्षों में ड्यूटी पर तैनात कर्मचारियों से प्रवेश पत्र व अन्य दस्तावेजों की जांच कराई गई। जांच में सामने आया कि छात्र अंश राजपूत की जगह अन्य व्यक्ति जो नाबालिग था और छात्र पवन लोधी की जगह पर भूपेंद्र पिता मनोहर लाल यादव निवासी ग्राम गढी (रायसेन) परीक्षा देने के लिए बैठे हैं। उनके पास मिले प्रवेश पत्रों में परीक्षार्थी की फोटो की जगह उपरोक्त फर्जी परीक्षार्थियों की फोटो चस्पा की गई थी।

फर्जीवाड़े का मुख्य आरोपी कृष्णा सिंह राजपूत गिरफ्तार।

फर्जीवाड़े का मुख्य आरोपी कृष्णा सिंह राजपूत गिरफ्तार।

फोटो लगाकर आधार कार्ड भी बना रखा था फर्जी बिलहरा पुलिस चौकी प्रभारी अभिषेक पटेल ने बताया कि फर्जी परीक्षार्थी होने की पुष्टि होते ही दोनों फर्जी परीक्षार्थियों से दस्तावेज मांगे गए तो 17 वर्षीय नाबालिग अपचारी ने स्वयं का आधार कार्ड पेश किया। जिसमें अंश राजपूत के नाम का आधार कार्ड था और उसकी फोटो लगी हुई थी। मामले में दोनों को पुलिस के हवाले कर दिया गया। पुलिस ने दोनों फर्जी परीक्षार्थियों से पूछताछ की। जिसमें ठाकुर उदयभान मेमोरियल उच्चतर माध्यमिक विद्यालय बिलहरा के संचालक व प्राचार्य कृष्णा सिंह राजपूत उर्फ किस्सू मासाब निवासी बिलहरा का नाम सामने आया। पुलिस ने मामले में कार्रवाई करते हुए मुख्य आरोपी प्राचार्य कृष्णा सिंह राजपूत, उसका बेटा अंश राजपूत, भूपेन्द्र पिता मनोहर लाल यादव उम्र 20 साल निवासी गढी रायसेन, पवन पिता बालकिशन लोधी उम्र 30 साल निवासी ग्राम टीला (शिवपुरी) हाल निवासी टेकापार कॉलोनी गैरतगंज रायसेन और नाबालिग अपचारी के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर जांच में लिया। मामले के बाद से आरोपी प्राचार्य कृष्णा सिंह, अंश राजपूत और पवन फरार थे। जिनकी तलाश शुरू की गई।

सागर में आरोपी कृष्ण सिंह राजपूत कॉलेज का संचालन करता है।

सागर में आरोपी कृष्ण सिंह राजपूत कॉलेज का संचालन करता है।

शिवपुरी से पवन और अंश को बिलहरा के पास से किया गिरफ्तार मामले में पुलिस ने कार्रवाई करते हुए फरार आरोपी पवन पिता बालकिशन लोधी उम्र 30 साल निवासी ग्राम टीला (शिवपुरी) को 23 मार्च को शिवपुरी से गिरफ्तार किया था। जिसके बाद फरार आरोपी पिता-पुत्र पर न्यायालय से उद्घोषणा जारी की गई। एसपी ने आरोपियों की गिरफ्तारी पर 3-3 हजार रुपए का इनाम घोषित किया। जिसके बाद पुलिस ने तलाश करते हुए फरार आरोपी अंश सिंह राजपूत को 9 मई को बिलहरा के पास से गिरफ्तार किया था। लेकिन मुख्य आरोपी कृष्णा सिंह राजपूत फरार था। जिसकी तलाश में पुलिस टीमें लगाते दबिश दे रही थी। लेकिन वह पुलिस को चकमा देकर भाग जाता था। इसी बीच पुलिस को उसके बिलहरा आने की सूचना मिली। वह शरद पूर्णिमा पर पत्नी के व्रत रखने पर मिलने आया था। सूचना मिलते ही पुलिस टीम ने घेराबंदी कर फर्जीवाड़े के मास्टर माइंड आरोपी कृष्णा सिंह राजपूत को धरदबोचा। थाने लाकर पूछताछ की गई। पूछताछ में आरोपी ने अपना जुर्म कबूल लिया।

मथुरा-वृंदावन में दो और गयाजी में एक माह काटी फरारी स्कूल प्राचार्य आरोपी कृष्णा सिंह राजपूत बेहद शातिर है। उसने फरारी के दौरान मोबाइल फोन का उपयोग नहीं किया। वह एसटीडी या फिर राह चलते व्यक्तियों का मोबाइल लेकर परिवार के लोगों से बात करता था। वह फरारी के दौरान कटनी, जबलपुर, मथुरा-वृंदावन, गयाजी समेत अन्य स्थानों पर रहा। वह धर्मशाला में रुकता था। उसने दो माह मथुरा वृंदावन में रहा और एक माह गयाजी में फरारी काटी। फरारी के दौरान उसने रिश्तेदारों से भी दूरी बना रखी थी। वह रिश्तेदारों के घर नहीं गया। बेटे को अच्छे नंबर से पास कराने किया था फर्जीवाड़ा आरोपी कृष्णा सिंह राजपूत बिलहरा में स्वयं का ठाकुर उदयभान मेमोरियल उच्चतर माध्यमिक विद्यालय संचालित करता है। जिसमें वह डीएड भी कराता है। उसका बेटा अंश सिंह राजपूत पढ़ाई-लिखाई में बेहद कमजोर था। उसे डर था कि उसकी बेटा परीक्षा में बैठेगा तो फेल हो जाएगा। इसलिए बेटे को अच्छे नंबरों से पास कराने के लिए उसने फर्जीवाड़े की प्लानिंग की। जिसमें स्कूल के पवन नाम के छात्र को शामिल किया। पवन से आरोपी कृष्णा सिंह राजपूत ने 40 हजार रुपए में प्रवेश से लेकर अच्छे नंबरों से पास कराने का जिम्मा ले रखा था। पवन कक्षा 12वीं की दोबारा परीक्षा दे रहा था। उसे अच्छे नंबर लाकर शासन की योजना में लैपटॉप, छात्रवृत्ति, स्कूटी का लाभ चाहिए था। जिसके चलते ने उसने स्कोरर से संपर्क किया। उन्हें फर्जी परीक्षार्थी बनाकर परीक्षा में बैठाने के लिए तैयार किया। जिसमें नाबालिग स्कोरर को ठाकुर उदयभान मेमोरियल उच्चतर माध्यमिक विद्यालय से डीएड कराने का लालच दिया। वहीं आरोपी भूपेंद्र को परीक्षा में बैठने के बदले 5 हजार रुपए दिए थे।

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