सीधी जिले के दिव्यांग छात्रावास मधुरी में बड़े स्तर पर लापरवाही का मामला सामने आया है। खराब खानपान के कारण 14 बच्चों को फूड पॉयजनिंग हो गई, जिनमें से दो बच्चों की हालत गंभीर बताई जा रही है। सभी बच्चों को जिला चिकित्सालय में भर्ती कराया गया है। बतादें
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शनिवार को दिव्यांग बच्चों की ब्लॉक स्तरीय प्रतियोगिता में ले जाया गया था। वहां लंच के पैकेट बच्चों को दिए गए थे। पैकेट वाला खाना खाने के बाद ही बच्चों की तबीयत खराब हुई। इस पूरे घटनाक्रम में बच्चों का बयान अधिकारियों के बयान से मैच नहीं कर रहा है। बच्चों का कहना है कि उन्होंने दाल चावल रोटी सब्जी सुबह खाई थी उसके बाद उन्होंने कुछ नहीं खाया।
लेकिन अधीक्षक का कहना है कि लंच पैकेट की व्यवस्था की थी उसे खाकर बच्चे बीमार हुए। पर जब डीपीसी अधिकारी से बात की गई तब उन्होंने बताया कि ठंड लगने की वजह से बीमार हुए हैं। हालांकि सभी के बयान में एकजुटता नहीं पाई जा रही है, जिसके लिए कलेक्टर ने जांच टीम का गठन कर दिया है।
घटना की सूचना मिलते ही एसडीएम गोपद बनास नीलेश शर्मा ने जिला चिकित्सालय का दौरा कर स्थिति का जायजा लिया। वहीं कलेक्टर स्वरोचिष सोमवंशी ने घटना को गंभीरता से लेते हुए छात्रावास प्रबंधन की लापरवाही पर कड़ी नाराजगी जताई और जांच के आदेश दिए हैं। उन्होंने एसडीएम और सिविल सर्जन को बच्चों की बेहतर स्वास्थ्य सुविधाओं का प्रबंधन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए।
छात्रावास प्रबंधन पर सवाल स्थानीय लोगों और बच्चों के अभिभावकों ने छात्रावास के प्रबंधन पर सवाल उठाए हैं। पहले भी खराब खानपान को लेकर शिकायतें मिल चुकी हैं, लेकिन इस ओर कोई ध्यान नहीं दिया गया। यह घटना प्रबंधन की घोर लापरवाही को उजागर करती है।
बीआरसीसी ने की गई थी लंच पैकेट की व्यवस्था
दिव्यांग छात्रावास मधुरी के अधीक्षक रामसहाय साकेत द्वारा बताया गया कि विकासखंड स्तरीय दिब्यांगो के लिए खेलकूद प्रतियोगिता का आयोजन जीडीसी कॉलेज मैदान में किया गया था। जहां लगभग दो बजे लंच पैकेट का वितरण किया गया, जिसे खाने के बाद बच्चे छात्रावास आ गए। दोपहर करीब तीन बजे से बच्चों का स्वास्थ्य खराब होने लगा, अपने स्तर से छात्रावास में दवा करवाई गई। जब स्वास्थ्य ठीक नहीं हुआ तब जिला अस्पताल शाम के समय ले आया हूं, जहां उपचार चल रहा है। लंच पैकेट की ब्यवस्था बीआरसीसी के द्वारा करवाई गई थी।
पूरे मामले मे सीधी अस्पताल की सिविल सर्जन दीपा रानी इसरानी ने जानकारी देते हुए बताया है दिव्यांग छात्रावास मधुरी के 14 बच्चों को उल्टी-दस्त की समस्या के कारण जिला चिकित्सालय सीधी में उपचार हेतु भर्ती कराया गया है। सिविल सर्जन ने बताया कि चिकित्सकों द्वारा स्वास्थ्य की लगातार निगरानी रखी जा रही है। बच्चों की उम्र 8 से 15 वर्ष के बीच है, उन्हें बच्चा वार्ड में भर्ती कराया गया है। सभी बच्चों के स्वास्थ्य में सुधार है। डिहाइड्रेशन के कारण दो बच्चों को ड्रिप लगाई गई है। किसी भी प्रकार से घबराने की आवश्यकता नहीं है।
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