जमीन लेने का उद्देश्य यहां पर उद्यान और ध्यान केंद्र स्थापित करना था। वर्ष 2013 में आसाराम पर दुष्कर्म के आरोप लगे। इसी आश्रम से उसकी गिरफ्तारी के बाद गंभीर शिकायत हुई तो तत्कालीन कलेक्टर आकाश त्रिपाठी ने आश्रम की जांच कराई। इस पर खुलासा हुआ कि यहां जमीन पर दो मंजिला बंगला बना लिया गया, जिसमें स्विमिंग पूल के साथ कई और सुविधाएं थीं। व्यावसायिक उपयोग भी मिला, जो लीज शर्तों का उल्लंघन था। इसके आधार पर लीज निरस्ती की कार्रवाई शुरू की गई। आश्रम ने प्रशासन की कार्रवाई के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका लगाई, जिस पर स्टे मिल गया।
2018 में हुई थी सुनवाई
स्टे खारिज कराने के लिए वर्ष 2017-18 में जिला प्रशासन ने कोर्ट में अपील की, लेकिन वह निरस्त हो गई। इसके बाद मामले में आज तक कोई तारीख नहीं लगी। प्रशासन ने भी स्टे खारिज कराने के लिए किसी तरह का प्रयास नहीं किया। हाल ही में कलेक्टर आशीष सिंह ने प्रकरण प्रभारी जूनी इंदौर एसडीएम को जल्द सुनवाई का आवेदन लगाने के निर्देश दिए हैं।
जल्द लगाएंगे आवेदन
जल्द सुनवाई के लिए हाईकोर्ट में आवेदन लगाया जाएगा। इसकी प्रक्रिया के लिए निर्देश दिए गए हैं। -आशीष सिंह, कलेक्टर ये भी पढ़ें: MPPSC ने जारी की Exam Dates, इस साल 19 परीक्षा, 2023, 2024 और 2025 यहां जानें पूरा शेड्यूल
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